दुनिया को नई राह दिखाने वास्ते सूली पर चढ़ा कौन जमाने के वास्ते

(एक बार बट गया देश अब और नहीं बटने देंगे) 

अलीगढ़ प्रदर्शनी में महाकवि डॉक्टर गोपाल दास नीरज जी की स्मृति में कृष्ण अंजलि में राष्ट्रीय एकता कवि सम्मेलन का आयोजन किया गया कार्यक्रम की अध्यक्षता वरिष्ठ गीतकार नरेंद्र शर्मा नरेंद्र तथा संचालन देश के प्रसिद्ध हास्य कवि पदम अलबेला ने किया
कार्यक्रम में प्रसिद्ध कवि अशोक अंजुम की रचना सराही गई दुनिया को नई राह दिखाने के वास्ते सूली पर चढ़ा कौन जमाने के वास्ते
कवि पदम अलबेला ने इस रचना से वाहवाही लूटी सज कर गोरी चली लेकर हरि का नाम आशा की राम की मिल गए आशाराम ओजस्वी कवि हरीश बेताब ने अपना आक्रोश इस तरह व्यक्त किया अब हम अपने भारत की पहचान नहीं मिलने देंगे एक बार बट गया देश अब और नहीं बटने देंगे ।
मणि मधुकर का कहना था उन्नति के शिखर पर चढ़े बेटियां जंग जीवन की अपनी लड़ाई बेटियां मशहूर शायर रेगना शहीन कहा यह और बात है कि हम बूंद-बूंद को तरसे तमाम उम्र समुंदर हमारे साथ रहा
शायर अतीक शहर का कहना था क्या बताऊं कि क्या दिया मुझको उसने हंसकर रुला दिया मुझको कभी वेद प्रकाश मणि ने कहा गीता वेद पुराणों में रहता वंदे मातरम गंगा जमुना की धारा में बहता वंदे मातरम
द मूवी हैदर ने कहा जियो और जीने दो सबको खुशी से यही दुनिया को है पैगाम मेरा मोहब्बत और रवादारी से किनारे तक भरा रहे जाम मेरा
हास्य कवि प्रेम किशोर पटाखा की मैं कविता कहता हूं वक्त से बढ़कर ना कोई आज हुआ है वक्त ने चाहा तो वह सरताज हुआ है गीतकार वह कार्यक्रम अध्यक्षता नरेंद्र शर्मा ने कहा नगमे मार्ग में आने वाला हर संकट सहना पड़ेगा डोली लगे खतरों से जी सावधान रहना पड़ेगा सुधीर शर्मा पतंजलि परिषद की ओर से आरबी शर्मा नरेंद्र सिकरवार राकेश शर्मा एडवोकेट भूपेंद्र देवेंद्र हनुमान जी ने सरस्वती जी के चित्र पर दीप जलाकर कार्यक्रम का शुभारंभ किया कार्यक्रम में सभी कवियों का नीरज जी के पुत्र प्रभात मिलन गुंजन एवं प्रमुख समाजसेवी अशोक सक्सेना समाजसेवी आर एन शर्मा एमसी अस्थाना दिलशाद खान ने अभिनंदन किया

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